GOLD
#HINDI DRAMATICS 2015 .
Still its not a drama , until you put all above mentioned stuffs in a structured box and run with this box for next 50 minutes without disturbing the structure .
Thank you RK . It was a magnum opus and a signature evening with love ,laughs and an outcry " HUM FIR AAYENGE " .
Just sharing , on request the concluding narration .
आज की शाम हमारा सफर यहीं समाप्त होता है
इस उम्मीद से की :
जिस सुबह की खातिर सदियों से मर मर कर जीते आये हैं
जिस सुबह की अमृत के धुन में विश का प्याला पीते आये हैं
वो सुबह कभी तो आएगी
वो सुबह कभी तो आएगी
ये मेरी जमीं हैं
इसे मैंने अपने ख़ून से सींचा है
जब तक वक़्त के शाखों में
भूखे नंगे प्यासे लाशें लटकाये जाएंगे
अपनी लक़ीरी के वास्ते
हम फिर आएंगे |
ये मेरी जिंदगी है
ये मेरा जश्न है
जब तक रंग और नस्ल के नाम पे हम दुत्कारे जाएंगे
जब तक सत्ता और राजनीति से हम ठुकराये जाएंगे
जब तक हमारी औरतें , दौलत पे तौली जाएंगी
ये मेरा वाद है
हम फिर आएंगे |
हम फिर आयेंगे
लाखों की तादाद में
करोड़ों की तादाद में ................
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